tag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post3834150482558495078..comments2023-11-09T10:02:07.593-05:00Comments on लावण्यम्` ~अन्तर्मन्`: मुक्तिलावण्यम्` ~ अन्तर्मन्`http://www.blogger.com/profile/15843792169513153049noreply@blogger.comBlogger25125tag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-51760401973056727812011-09-01T06:14:45.121-04:002011-09-01T06:14:45.121-04:00मुक्ति, अगर हम मुक्ति की जगह सत्य को ढूंढे तो सबसे...मुक्ति, अगर हम मुक्ति की जगह सत्य को ढूंढे तो सबसे अच्छा होगा। क्योंकि सत्य के बिना अपने बुद्धि और भावना से मुक्ति शब्द को परिभाषित करे तो वह गलत होगा।Rahul guptahttps://www.blogger.com/profile/13069692691754465548noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-71055461894879846862009-02-19T14:29:00.000-05:002009-02-19T14:29:00.000-05:00कँचन ये बातेँ सच ही हैँ ! कोई शक नहीँ ! आशा श्रध्ध...कँचन ये बातेँ सच ही हैँ !<BR/> कोई शक नहीँ !<BR/> आशा श्रध्धा और विश्वास ही<BR/> भक्ति की नीँव है-<BR/>और अमर भाई ,<BR/>धन्यवाद <BR/>आपकी सराहना के लिये ..<BR/>स्नेह सहित<BR/>- लावण्यालावण्यम्` ~ अन्तर्मन्`https://www.blogger.com/profile/15843792169513153049noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-46908021920551172332009-02-17T09:12:00.000-05:002009-02-17T09:12:00.000-05:00कई बार पढ़ने और दूसरों को पढ़वाने और संदर्भित करने य...<I><BR/>कई बार पढ़ने और दूसरों को पढ़वाने <BR/>और संदर्भित करने योग्य लिखा है, आपने !<BR/>यह पोस्ट पृष्ठांकित कर लिया है, दीदी ।<BR/><BR/></I>डा. अमर कुमारhttps://www.blogger.com/profile/12658655094359638147noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-70577399699870863892009-02-11T07:04:00.000-05:002009-02-11T07:04:00.000-05:00आपके ब्लॉग को पढ़ना एक तीरथ यात्रा सा महसूस होता ह...आपके ब्लॉग को पढ़ना <BR/>एक तीरथ यात्रा सा महसूस होता है ....<BR/>अच्छे विचार लिखना, बांटना, और पढ़ना <BR/>सचमुच अपने अन्दर दिव्या प्रकाश करने जैसा ही है ....<BR/>नमन और साधुवाद . . . . . .<BR/>---मुफलिस---daanishhttps://www.blogger.com/profile/15771816049026571278noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-72673786953637418662009-02-11T06:24:00.000-05:002009-02-11T06:24:00.000-05:00avkaash par jaane se pahle bahut hi sundar aur anm...avkaash par jaane se pahle bahut hi sundar aur anmol tohfa is post ke ruup mein de rahi hain aap ..-aap ki vacation khuub maje mein bitey.. shubhkamnayenAlpana Vermahttps://www.blogger.com/profile/08360043006024019346noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-47221447394123516412009-02-09T05:54:00.000-05:002009-02-09T05:54:00.000-05:00जब इन्हे पढ़ती हूँ, तो ये ही सच लगने लगते हैं ........जब इन्हे पढ़ती हूँ, तो ये ही सच लगने लगते हैं ......!कंचन सिंह चौहानhttps://www.blogger.com/profile/12391291933380719702noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-7747920137684157222009-02-08T22:25:00.000-05:002009-02-08T22:25:00.000-05:00इन विभूतियों से साक्षात्कार करवाने के लिए आभार. हम...इन विभूतियों से साक्षात्कार करवाने के लिए आभार. हम उस परमेश्वर की प्रशंशा में एक गीत या भजन गा नहीं सकते. दूसरों का गाया तो सुन सकते हैं. कुछ को शायद ऐसे भी मुक्ति प्राप्त हो सकती है. मात्र पठन या श्रवण से!P.N. Subramanianhttps://www.blogger.com/profile/01420464521174227821noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-22509282145626298402009-02-08T01:05:00.000-05:002009-02-08T01:05:00.000-05:00बेहतरीन पोस्ट....बेहतरीन पोस्ट....योगेन्द्र मौदगिलhttps://www.blogger.com/profile/14778289379036332242noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-72278276186067288992009-02-08T01:03:00.000-05:002009-02-08T01:03:00.000-05:00आप बड़ी आध्यात्मिक पोस्ट लिखती हैं....मेरे हिसाब स...आप बड़ी आध्यात्मिक पोस्ट लिखती हैं....मेरे हिसाब से अच्छे कर्म करते रहना ही मुक्ति का सबसे आसान मार्ग है!pallavi trivedihttps://www.blogger.com/profile/13303235514780334791noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-3947122562882539782009-02-07T10:59:00.000-05:002009-02-07T10:59:00.000-05:00आप सभी का बहुत बहुत आभार जो आपने इन महानुभावोँ पर ...आप सभी का बहुत बहुत आभार जो आपने इन महानुभावोँ पर लिखा सराहा <BR/>ये सँत विभूतियाँ हैँ ही ऐसी विरल कि उनके जीवन दर्शन से हमेँ सत्सँग मिले<BR/>यह होना ही है -<BR/><BR/> आदरणीय महावीर जी के सुझाव पर और ज्ञान भाई साहब के कहने पर पिछली पोस्ट को आगे बढाते हुए "मुक्ति" पर भी लिखा -<BR/><BR/>अनुराग भाई, <BR/>आपने जो श्लोक लिखा है <BR/>उसी पर विस्तार से लिखियेगा - <BR/><BR/>महेन्द्र भाई साहब,<BR/> राज भाई साहब,<BR/> अजित भाई, <BR/>विनय भाई,<BR/> समीर भाई, <BR/>नीरज भाई साहब, <BR/>हर्षद भाई,<BR/> ममता जी,<BR/> ताऊ जी,<BR/> सँगीता जी,<BR/> डा. अनुराग भाई,<BR/> अभिषेक भाई <BR/>आप सभी का आभार - <BR/><BR/>आद्यात्म, इतिहास,सँस्कृति,कला,दर्शन,साहित्य , समाज शास्त्र, मनोविज्ञान ये सभी मुझे प्रिय हैँ --<BR/><BR/>आप सभी से कुछ दिनोँ का <BR/>अवकाश ले रही हूँ -<BR/><BR/> पुत्र सोपान के पास जा रही हूँ - वेस्ट कोस्ट / West Coast <BR/><BR/>अभी वो यहीँ आया हुआ है - <BR/><BR/>९ तारीख से यात्रा पर रहूँगी -<BR/> नियमित टीप्पणी ना कर पाऊँ तो,<BR/>अग्रिम क्षमा ...<BR/><BR/>कुछ नई बातेँ और चित्र लेकर फिर हाज़िर हो जाऊँगी ..<BR/><BR/>दीगम्बर जी, <BR/>आपके स्नेह के लिये बहुत बहुत आभार ! <BR/>आते रहीयेगा ..<BR/>आपका ब्लोग भी देखती हूँ ..<BR/><BR/>स - स्नेह, <BR/>-- लावण्यालावण्यम्` ~ अन्तर्मन्`https://www.blogger.com/profile/15843792169513153049noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-74516352495014082422009-02-07T09:52:00.000-05:002009-02-07T09:52:00.000-05:00इन महान आत्मा संतों के बारे में बताने के लिए आभार....इन महान आत्मा संतों के बारे में बताने के लिए आभार. बहुत अच्छी लगी ये पोस्ट. एक से बढ़कर एक अनुकरणीय व्यक्तित्व !Abhishek Ojhahttps://www.blogger.com/profile/12513762898738044716noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-69990918652177797652009-02-07T08:47:00.000-05:002009-02-07T08:47:00.000-05:00आज कल आप भक्तिमय हो रही है .ओर इस बहाने हम में भी ...आज कल आप भक्तिमय हो रही है .ओर इस बहाने हम में भी बहुत कुछ बाँट रही है.....अच्छा लगता हैडॉ .अनुरागhttps://www.blogger.com/profile/02191025429540788272noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-60430124466379614882009-02-07T04:35:00.000-05:002009-02-07T04:35:00.000-05:00बहुत सुंदर और ज्ञानवर्द्धक पोस्ट...बहुत सुंदर और ज्ञानवर्द्धक पोस्ट...संगीता पुरी https://www.blogger.com/profile/04508740964075984362noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-43787106773115427742009-02-07T03:42:00.000-05:002009-02-07T03:42:00.000-05:00आज पहली बार आप का ब्लॉग देखा, यूँ तो बहुत ब्लोग्स ...आज पहली बार आप का ब्लॉग देखा, यूँ तो बहुत ब्लोग्स पर आपके कमेन्ट पढता रहता था, और उनको पढ़ कर लगता था की एक उच्च प्रतिभाशाली की टिप्पणी पढ़ रहा हूँ, आज उस बात को सत्य रूप में देख लिया, आप के ब्लॉग पर. हिन्दी में, उर्दू में, इंग्लिश में, सभी तरह के विषयों पर आपके लेख, कविता आपके शुद्ध विचार और सोम्य व्यवहार को दर्शाते हैं. <BR/><BR/>धर्म और संस्कृति पर आपका लेखन संजो कर रखने वाला है, इस बात पर कोई दो राय हो ही नही सकती. आध्यात्मिक जीवन को इतने गहन रूप खुबसुरातागल अपने जीवन दर्शन में उतारने वाला ही इतनी मोहक चर्चा कर सकता है.<BR/><BR/>नमन है आपकी लेखनी कोदिगम्बर नासवाhttps://www.blogger.com/profile/11793607017463281505noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-44367951116544635982009-02-07T03:28:00.000-05:002009-02-07T03:28:00.000-05:00बस इतना ही कहूंगा कि ये आपकी शैली मे एक अनमोल पोस्...बस इतना ही कहूंगा कि ये आपकी शैली मे एक अनमोल पोस्ट है. ये भी कह सकते हैं कि भक्ती मार्ग के अनमोल हीरे-मोती आपने दिखा दिये हैं.<BR/>बहुत श्बुभकामनाएं.<BR/><BR/>रामराम.ताऊ रामपुरियाhttps://www.blogger.com/profile/12308265397988399067noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-3154301146079174292009-02-07T02:29:00.000-05:002009-02-07T02:29:00.000-05:00मनुष्य , ईश्वर से जो माँगता है, ईश्वर उसे वही देते...मनुष्य , ईश्वर से जो माँगता है, ईश्वर उसे वही देते हैं । ये उनकी कृपा है। परंतु , जो भक्त , ईश्वर को , अपना सर्वस्व दे देते हैं और शरणागति अपना लेते हैं और ईश्वर में दृढ आस्था और विश्वास स्थापित करते हैं, उन्हें ईश्वर, अपना प्रेम प्रदान करते हैं । भक्ति का स्वीकार और ईश्वर की अनुकम्पा का प्रसाद , तभी प्राप्त होता है। ईश्वर भक्त को सर्वस्व मिल जाता है।<BR/><BR/>इससे बढ़ा ज्ञान भला क्या होगा ।<BR/><BR/>शुक्रिया ।mamtahttps://www.blogger.com/profile/05350694731690138562noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-76279665069799554052009-02-07T01:33:00.000-05:002009-02-07T01:33:00.000-05:00आनन्द - रामकृष्ण परमहन्स से रमण महर्षि होते नरसी भ...आनन्द - रामकृष्ण परमहन्स से रमण महर्षि होते नरसी भगत।<BR/>और यह सत्यम शिवम का गीत का लिंक! बहुत सुन्दर।Gyan Dutt Pandeyhttps://www.blogger.com/profile/05293412290435900116noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-72144326354089085312009-02-07T00:44:00.000-05:002009-02-07T00:44:00.000-05:00Lavanya DiExtra fine lekh.-Harshad JanglaAtlanta, ...Lavanya Di<BR/><BR/>Extra fine lekh.<BR/><BR/>-Harshad Jangla<BR/>Atlanta, USAHarshad Janglahttps://www.blogger.com/profile/00844983134116438245noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-30949937268479722332009-02-07T00:34:00.000-05:002009-02-07T00:34:00.000-05:00संभाल के रखने योग्य पोस्ट...आपकी जानकारी कमाल की ह...संभाल के रखने योग्य पोस्ट...आपकी जानकारी कमाल की है...नमन है आपको...<BR/>नीरजनीरज गोस्वामीhttps://www.blogger.com/profile/07783169049273015154noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-26909946770248510182009-02-06T22:18:00.000-05:002009-02-06T22:18:00.000-05:00"मुक्ति ना मांगूं, स्वर्ग ना मांगूं, मांगूं, मनुज ...<B>"मुक्ति ना मांगूं, स्वर्ग ना मांगूं, मांगूं, मनुज अवतार रे ....."</B> पढ़कर संस्कृत का च्यवन ऋषि का कहा माना जाने वाला एक लगभग समानार्थी वाक्य याद आ गया:<BR/><A>न त्वहं कामये राज्यं न स्वर्गं नाऽपुनर्भवम् ।<BR/>कामये दु:खतप्तानां प्राणिनामार्तिनाशनम्।।</A>Smart Indianhttps://www.blogger.com/profile/11400222466406727149noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-47973838307752198682009-02-06T19:05:00.000-05:002009-02-06T19:05:00.000-05:00आप जितना सहेज कर लिखती हैं मय सुन्दर चित्र..हमें त...आप जितना सहेज कर लिखती हैं मय सुन्दर चित्र..हमें तो इसे पढ़ते रहना ही मुक्ति का मार्ग लगता है. एक भक्ति भाव पैदा होता है. ठीक वैसा ही जैसे भजन कीर्तन में लीन होकर व्यक्ति अनुभव करता है.<BR/><BR/>जय हो आपकी.<BR/><BR/>बहुत सुन्दर आलेख-ढ़ेरों जानकारी.Udan Tashtarihttps://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-43662927668721632009-02-06T17:41:00.000-05:002009-02-06T17:41:00.000-05:00इस धार्मिक जानकारी से सजी-धजी पोस्ट के लिए आपको मे...इस धार्मिक जानकारी से सजी-धजी पोस्ट के लिए आपको मेरा नमन!Vinayhttps://www.blogger.com/profile/08734830206267994994noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-38579022076348758942009-02-06T17:02:00.000-05:002009-02-06T17:02:00.000-05:00बहुत अच्छी जानकारियां...मुक्ति-भक्ति की बातें। आप ...बहुत अच्छी जानकारियां...मुक्ति-भक्ति की बातें। आप काफी इत्मीनान से लिखती है, यह महत्वपूर्ण हैं।अजित वडनेरकरhttps://www.blogger.com/profile/11364804684091635102noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-79456697510407248482009-02-06T14:43:00.000-05:002009-02-06T14:43:00.000-05:00नरसिंह ने अन्तिम बार प्रभू के लिए भजन गाया और अनाज...नरसिंह ने अन्तिम बार प्रभू के लिए भजन गाया और अनाज लेकर घर चले गए ...<BR/>कई माह बीते परन्तु नरसिंह ने केदार राग ना गाया<BR/>तब स्वयं कृष्ण भगवान् अधीर हो गए ॥<BR/>लावण्यम् जी आप ने मुक्ति का मार्ग खुद बता दिया, ओर फ़िर हम से प्रश्न केसा? जी अगर हमे मुक्ति चाहिये तो हमे भी नर सिंह की तरह से वचन के पक्के, ओर भगवान से सच्चा प्यार होना चाहिये, ओर यह सच्चा प्यार उस की बात मानने से होगा, ना कि सिर्फ़ उसे ही मानने से होगा, जेसे नर सिंह ने अपने ईष्ट को गिरवी रख दिया, यानि वचन का पालान किया, ओर बिना ईष्ट के भजन किस के लिये गाये, किसे पुजे??<BR/>बहुत सी सुंदर शिक्षा दी है आप के इस सुंदर लेख ने.<BR/>धन्यवादराज भाटिय़ाhttps://www.blogger.com/profile/10550068457332160511noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-4559075607109953498.post-69759139115710168632009-02-06T11:59:00.000-05:002009-02-06T11:59:00.000-05:00बहुत सुंदर जानकारीपूर्ण धार्मिक पोस्ट. आभारबहुत सुंदर जानकारीपूर्ण धार्मिक पोस्ट. आभारमहेन्द्र मिश्रhttps://www.blogger.com/profile/00466530125214639404noreply@blogger.com